हापुड़। जल जीवन मिशन योजना के तहत घर-घर शुद्ध पेयजल पहुंचाने की मंशा फेल होती दिख रही है। जल जीवन मिशन की हर घर जल योजना की रफ्तार धीमी पड़ने से प्रदेश में जनपद की रैंकिंग भी गिरी है। मार्च में जनपद की रैंक 17 वें स्थान पर पहुंच गई है। योजना के तहत 220 गांवों में से केवल 110 में ही काम पूरा हुआ है, वहीं, 48 में पेयजल आपूर्ति शुरू हो सकी है।
योजना के तहत गांवों में अवर जलाशय, ट्यूबवेल और पाइप लाइन बिछाकर पेयजल आपूर्ति सुचारू करानी थी। योजना के लिए जनपद के 236 राजस्व ग्रामों का सर्वेक्षण पूरा किया गया था, इसमें 200 राजस्व ग्रामों के लिए नई डीपीआर बनाकर कार्य शुरू कराया गया था। मार्च में योजना पहले, दूसरे, तीसरे और पांचवें चरण में पीछे हुई है।
हर घर तक शुद्ध पेयजल पहुंचाने का लक्ष्य दिन-प्रतिदिन दूर हो रहा है। योजना के तहत पहले पिछले साल मार्च में काम पूरा होना था। जिसकी समय सीमा बढ़ाकर दिसंबर कर दी गई थी, लेकिन अप्रैल बीतने के बाद भी काम पूरा नहीं हुआ है।
काम की गति को देखते हुए इसमें संशय है। यही कारण है कि जिले में अभी तक 200 में से करीब 110 गांवों में ही काम पूरा हुआ है, इसमें भी मात्र 48 गांवों में ही पानी की आपूर्ति शुरू हुई है।
अधिशासी अभियंता विनय रावत- ने बताया की जिले में योजना को लेकर बेहतर तरीके से काम चल रहा है। अक्टूबर माह तक हर हालत में योजना का काम पूरा हो जाएगा। योजना में चिह्नित सभी परिवारों को पेयजल आपूर्ति का लाभ दिया जाएगा।