जनपद हापुड़ के गढ़मुक्तेश्वर में प्राचीन तीर्थस्थली और गंगा नगरी हरिद्वार के उत्तराखंड में जाने के बाद से प्रदेश सरकार द्वारा गढ़-ब्रजघाट तीर्थ नगरी को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जा रहा है। जिसके तहत विभिन्न योजनाएं तैयार की जा रही हैं। इसी के मद्देनजर पर्यटन विभाग ने 75 करोड़ रुपये की कार्य योजना बनाकर शासन को भेजी है।
वर्तमान में गढ़मुक्तेश्वर-ब्रजघाट पश्चिमी उप्र का प्रमुख तीर्थ स्थल है। जिसके विकास के लिए शासन द्वारा विगत 10 वर्षों से लगातार काम किया जा रहा है। अब तक गंगानगरी में रंगीन फव्वारा/लेजर शो, पीडब्ल्यूडी और सिंचाई विभाग के गेस्ट हाउस, मनोरंजन पार्क के निर्माण समेत पक्के घाट, घंटाघर, कैनोपी और तट पर आने वाले श्रद्धालुओं के लिए अनेक सुविधाएं उपलब्ध कराई जा चुकी हैं।
क्षेत्र का विकास होने से श्रद्धालुओं को सुविधाएं भी मिलेंगी। गढ़-ब्रजघाट तीर्थ नगरी पर्यटन को बढ़ावा मिलने से स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के भी अवसर बढ़ेंगे। इसके अलावा प्राचीन मंदिरों का जीर्णोद्धार श्रद्धालुओं के लिए भी खुशी का विषय है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी ब्रजघाट में आगमन के दौरान तीर्थनगरी के विकास को तेजी से करने का निर्देश दिया था। जिसमें वैदिक सिटी का निर्माण, कोथला खादर में डिज्नीलैंड, लठीरा-तिगरी को जोडने के लिए गंगा पर पुल निर्माण समेत अन्य योजनाएं शामिल हैं। 75 करोड रुपये की कार्ययोजना के तहत मल्टीलेवल पार्किंग का निर्माण कराया जाएगा, ताकि सड़कों पर वाहन खड़े होने से निजात मिल सके।
विधायक हरेंद्र सिंह तेवतिया- ने बताया की गढ़-ब्रजघाट का विकास प्रदेश सरकार की प्राथमिकता में शामिल है, जिसके तहत लगातार वह भी प्रयास कर रहे हैं। संबंधित विभागों के कई प्रस्ताव भेजे हैं।