हापुड़ के बाजार में दुकानों पर एनसीईआरटी की किताबें नहीं मिल रही हैं। कक्षा छह, नौ और 11वीं की 80 फीसदी से अधिक किताबों आई ही नहीं हैं। 12वीं की सिर्फ 70 फीसदी किताबे आई हैं। गणित, विज्ञान और अंग्रेजी की किताबों की भी कमी है। नए सत्र में छात्र अधूरे पाठ्यक्रम से पढ़ाई करने को मजबूर हैं।
एक अप्रैल से नया शैक्षिक सत्र शुरू हो चुका है। प्राइवेट स्कूलों ने एनसीईआरटी से दूरी बनाकर अपने यहां पढने वाले छात्रों को निजी प्रकाशनों के पाठ्यक्रम दिला दिया। जिस कारण उनका कोर्स आसानी से आगे बढ़ रहा है। लेकिन माध्यमिक स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों को पाठ्यक्रम से आगे बढ़ना तो दूर अभी पूरी किताबें ही नहीं मिल रही हैं।
बाजार में पिछले एक महीने से एनसीईआरटी की किताबों की भारी कमी चल रही है। वर्तमान की स्थिति देखें तो कक्षा 6, नौ और 11वीं की 80 फीसदी तक किताबें बाजार में नहीं हैं। इनमें मुख्य पुस्तकें ही शामिल हैं, जिसमें गणित, विज्ञान, अंग्रेजी और हिंदी है। सामाजिक विज्ञान की कोई किताब विक्रेताओं पर नहीं मिल रहीं। बाजार में दुकानों पर एनसीईआरटी की किताबें उपलब्ध नहीं हैं। जिसके चलते छात्र और अभिभावक परेशान है, नए सत्र में छात्र अधूरे पाठ्यक्रम से पढ़ाई करने को मजबूर हैं।
डीआईओएस पीके उपाध्याय- ने बताया की एनसीईआरटी की किताबों के संबंध में उच्चाधिकारियों को अवगत करा दिया गया है। जल्द ही छात्रों को पूरा कोर्स मिलेगा। स्कूलों में पढ़ाई के दौरान उन्हें परेशानी नहीं होगी।