हापुड़ के शीतगृहों में 1.68 लाख मीट्रिक टन आलू अब भी भंडारित, 150 रुपये तक गिरे एक कट्टे के भाव
हापुड़। जिले के हजारों आलू किसानों को उस वक्त तगड़ा झटका लगा, जब आलू के दामों में 150 रुपये प्रति कट्टा तक की गिरावट दर्ज की गई। जहां एक महीने पहले 50 किलोग्राम का एक कट्टा 700 रुपये में बिक रहा था, अब वही आलू 500 से 550 रुपये में बिक रहा है। स्थिति इतनी गंभीर है कि शीतगृहों में अभी भी 80 प्रतिशत आलू भंडारित पड़ा है।
🧊 20 शीतगृहों में हुआ रिकॉर्ड भंडारण
इस साल जिले में आलू का उत्पादन बंपर रहा। 20 शीतगृहों में कुल 2,10,578 मीट्रिक टन आलू का भंडारण किया गया, जो मार्च में ही भर गए थे। लेकिन चार महीने बीतने के बावजूद केवल 20-22 प्रतिशत (लगभग 42,000 मीट्रिक टन) आलू की ही निकासी हो पाई है।
📉 मांग घटने से टूटे दाम
मंडी में आलू की आपूर्ति अधिक और खरीद कम होने के कारण दामों में लगातार गिरावट देखने को मिल रही है। व्यापारियों का कहना है कि थोक बाजार में मांग कमजोर है, और आढ़ती भी जोखिम लेने से बच रहे हैं।
🗣️ क्या बोले जिला उद्यान अधिकारी?
डॉ. हरित कुमार, जिला उद्यान अधिकारी, ने किसानों को सलाह दी:
“बाजार भाव पर नजर रखें। जब अच्छा दाम मिले तभी आलू की बिक्री करें। किसानों को समय-समय पर भाव की जानकारी दी जाती है।”
💰 किराया भी बना सिरदर्द
किसानों को शीतगृह में आलू रखने का किराया भी देना होता है, जिससे उनकी लागत बढ़ जाती है और कम दाम मिलने पर नुकसान दोगुना हो जाता है। कुछ किसान ‘चटकी’ (मूल्य उछाल) के इंतजार में हैं, लेकिन बाजार का रुख फिलहाल अनिश्चित है।
📌 मुख्य बिंदु (Highlights):
- आलू के दाम 700 रुपये से गिरकर 500–550 रुपये प्रति कट्टा तक पहुंचे
- 20 शीतगृहों में 2.10 लाख मीट्रिक टन आलू का भंडारण
- अब भी 1.68 लाख मीट्रिक टन आलू शीतगृहों में पड़ा
- मंडी में खरीदारों की कमी से बाजार कमजोर
- किसानों को सलाह: बाजार पर नजर रखें, अच्छे दाम मिलते ही क