हापुड़ में दिवाली पर दो दिन जमकर हुई आतिशबाजी से वातावरण में घुला जहर अब तेजी से फैल रहा है। इससे जिले की आबोहवा जहरीली हो गई है। रविवार जिले में सीजन का अभी तक का सबसे प्रदूषित दिन रहा। सुबह से ही वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 304 तक पहुंच गया। हालांकि दोपहर के समय इसमें कुछ गिरावट दर्ज की गई। इस स्थिति से काफी संख्या में लोग चिकित्सकों के परामर्श लेने के लिए अस्पताल पहुंचे।
शहर में वायु प्रदूषण का स्तर इस सीजन में पहली बार 300 के पार रेड जोन में पहुंच गया हैं। जिले में दिवाली पर दो रात जमकर आतिशबाजी हुई थी। हालांकि, रात को चली तेज हवाओं के कारण दिवाली के अगले दिन एक्यूआई का स्तर 256 दर्ज किया गया। दिवाली से पहले यह 180 दर्ज किया गया था। लेकिन, हवा की रफ्तार जैसे ही रुकी तो प्रदूषण का स्तर भी तेजी से बढ़ने लगा है। प्रदूषण की एक बार फिर गंभीर होती स्थिति से लोगों की सेहत भी खराब होने लगी है। सांस लेना भी लोगों के स्वास्थ्य पर भारी पड़ रहा है। बुजुर्गों और बच्चों में सांस लेने की समस्या रही।
प्रदूषण ने लोगों की परेशानी बढ़ा दी है। आंखों में जलन और सांस रोगियों को एक बार फिर दिक्कत हो गई है। नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ. अतुल आनंद ने बताया प्रदूषण के कारण आंखों में जलन की शिकायत वाले रोगियों की संख्या बढ़ी है। इसके अलावा सांस रोगियों की संख्या में भी इजाफा हुआ है। सभी मॉस्क लगाएं और जरूरी काम से ही बाहर निकलें।
एडीएम संदीप सिंह- ने बताया की प्रदूषण के बढ़ते स्तर को नियंत्रित करने के लिए प्रशासन द्वारा सख्त कदम उठाए जाएंगे। संबंधित विभागों को कार्यवाही के लिए निर्देशित किया जा चुका है। वे खुद इसकी निगरानी करेंगी।