हापुड़ जिले में अंतिम मरीज तक स्वास्थ्य सेवाओं को पहुंचाने के लिए हर रविवार को जन आरोग्य मेले लगाए जाते हैं। जिलेभर के 23 स्थानों पर लगे आरोग्य मेलों में 1900 से ज्यादा मरीज आए। इनमें 500 से अधिक बुखार वाले थे, हालांकि कुछ केंद्रों पर चिकित्सक नहीं पहुंचे। इस कारण मरीज फार्मासिस्टों से ही दवाएं लेकर वापस लौट आए।
मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के लिए हर रविवार को अरबन और ग्रामीण पीएचसी पर आरोग्य मेले लगाए जाने के निर्देश हैं। हालांकि ये कैंप सिर्फ एक चिकित्सक के भरोसे ही चलते हैं। हापुड़ के भीमनगर और मोतीनगर कॉलोनी में बने केंद्रों पर चिकित्सक गैर हाजिर ही रहते हैं, जबकि दोनों ही अस्पतालों के आस-पास घनी आबादी वाले क्षेत्र हैं।
रविवार को समस्त केंद्रों पर 1900 से अधिक मरीज पहुंचे। इनमें 500 से ज्यादा बुखार के मरीज रहे, लक्षण के आधार पर मरीजों के सैंपल भी लिए गए। इसके साथ ही गर्भवती महिलाएं जांच कराने के लिए पहुंची। इनमें चर्म रोगियों की संख्या अधिक रही। साथ ही कमर दर्द, आंखों में जलन, ईएनटी संबंधी रोगों की समस्या लेकर भी मरीज अस्पतालों में आए।
जिले के किसी भी आरोग्य मेले में विशेषज्ञ चिकित्सक नहीं पहुंचे। मरीज फार्मासिस्टों से ही दवाएं लेकर वापस लौट रहे है। सीएचसी और जिला अस्पतालों में भी सामान्य ओपीडी के दिनों में विशेषज्ञ चिकित्सक कम ही मिलते हैं, कुछ छोड़कर भी जा चुके हैं। कुल मिलाकर आरोग्य मेलों में मरीज दवाएं लेकर ही लौटे, खास उपचार उन्हें नहीं मिल सका।
सीएमओ डॉ. सुनील त्यागी- ने बताया की आरोग्य मेलों में आने वाले मरीजों को उपचार और दवाएं मुहैया करायी जा रही हैं। जिन मरीजों को भर्ती या बड़ी जांचें की जरूरत हैं उन्हें सीएचसी या जिला अस्पताल रेफर किया जा रहा है।