हापुड़ जिले में गन्ने का नया पेराई सत्र नवंबर के पहले सप्ताह से शुरू होगा। मशीनों को दुरूस्त किया जा रहा है, साथ ही गोदामों में रखी चीनी की बिक्री का कोटा निर्धारित कर दिया है। बिक्री के 85 फीसदी पैसे से किसानों का करीब 254 करोड़ का भुगतान होगा।
सिंभावली और ब्रजनाथपुर चीनी मिल का मालिकाना हक छिनने के बाद बैंक की ओर से कंट्रोलर नियुक्त किया गया है। प्रशासन ने किसानों को हर महीने 70 करोड़ का भुगतान कराने की योजना बनाई थी। जिस पर आज तक अमल नहीं हो सका है। अभी भी दोनों मिलों पर किसानों का 254 करोड़ बकाया है। सिंभावली और हापुड़ सोसायटी से जुड़े किसानों के खातों में 31 जनवरी तक का भुगतान भेज दिया गया है।
नए सत्र की पेराई शुरू करने के लिए मिलों में तैयारियां शुरू हो गई हैं। गन्ना विभाग को मिलों की ओर से नवंबर के पहले सप्ताह में मिल चलाने की जानकारी दी गई है। इससे पहले 39 फीसदी अवशेष भुगतान को कराने की भी तैयारी है।
बता दें कि दोनों मिलों के गोदामों में 3.87 लाख क्विंटल चीनी का स्टॉक है। जिसकी बिक्री का कोटा निर्धारित हो गया है। बिक्री से मिलने वाले पैसे का 85 फीसदी भुगतान के रूप में किसानों को मिलेगा। हालांकि चीनी बिक्री से आना वाले पैसे से किसानों का पूरा भुगतान नहीं हो सकेगा, नए सत्र की पेराई से चीनी बनाकर भी पिछले सत्र का भुगतान कराना होगा।
जिला गन्ना अधिकारी सना आफरीन खान- ने बताया की दोनों चीनी मिलों को नवंबर के पहले सप्ताह में चलाने की तैयारी है। हापुड़ और सिंभावली सोसायटी के किसानों को 31 जनवरी तक का भुगतान करा दिया गया है।