जनपद हापुड़ के पिलखुवा हाईवे-9 स्थित रामा मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल का मामला सामने आया है। जिसमे प्रशिक्षु चिकित्सकों ने कम वेतन देने पर हंगामा किया। चिकित्सकों ने इमरजेंसी सेवाएं छोड़कर कामकाज ठप कर दिया।
हाईवे-9 किनारे स्थित रामा मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के एमएस और एमडी के प्रशिक्षु चिकित्सकों ने बृहस्पतिवार को प्रबंधन पर निर्धारित वेतन न देने समेत अन्य गंभीर आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया। प्रबंधन के खिलाफ नारेबाजी करते हुए प्रशिक्षु चिकित्सकों ने परिसर में धरना दिया। संस्थान के पदाधिकारियों ने धरनारत चिकित्सकों से वार्ता करने का प्रयास किया, लेकिन वह अपनी मांगों पर अड़े हैं।
धरनारत प्रशिक्षु चिकित्सक डॉ. गौरव, डॉ. लकी, डॉ. गार्गी, डॉ. अभिलाष, डॉ. अंकिता, डॉ. मोहित, डॉ. श्रीजल, डॉ. सर्वेश, डॉ. विनोद, डॉ. दीवानी ने बताया की संस्थान में एमडी और एमएस प्रथम, द्वितीय, एवं तृतीय वर्ष के 124 प्रशिक्षु चिकित्सक हैं। जिनका संस्थान के प्रबंधन एवं पदाधिकारियों द्वारा उत्पीड़न किया जा रहा है। उन्होंने अस्पताल की इमरजेंसी सेवाओं को छोड़कर सभी विभागों का कामकाज पूरी तरह से ठप कर दिया।
उन्होंने बताया कि सरकार द्वारा निर्धारित 90 के स्थान पर 25 से 30 हजार रुपये प्रतिमाह वेतन, साल में 20 की जगह 12 सीएल (छुट्टी) दी जाती हैं। उन्होंने संस्थान पर दो माह से वेतन न देने का भी आरोप लगाया। चिकित्सकों ने आरोप लगाया कि संस्थान द्वारा एसी कमरे का किराया वसूला जाता है, लेकिन इसके बावजूद भी एसी कमरे उपलब्ध नहीं कराए जा रहे हैं। उन्होंने मांगों का जल्द निस्तारण न होने पर भूख हड़ताल एवं अनिश्चितकालीन धरना देने की चेतावनी दी है।
संस्थान के महाप्रबंधक विक्रांत सिंह तोमर का कहना है कि हंगामा एवं धरना देने वाले चिकित्सकों को काम नहीं, बल्कि राजनीति करनी है। इनसे वार्ता कर जल्द धरना समाप्त करा दिया जाएगा। वहीं, मरीजों के उपचार में किसी प्रकार की दिक्कत नहीं होने दी जा रही है। ओपीडी को भी व्यवस्थित तरीके से चलाया जा रहा है।